भक्ति एवं शक्ति के प्रतीक : भगवान परशुराम Bhakti evam Shakti ke Prateek Bhagwan Prashuram
परशुराम पुराण Parshuram Puran
Description:... भारतीय सभ्यता और संस्कृति का सही चित्रण करने में पुराणों और महाभारत के रचियता विष्णु अवतार महर्षि वेद व्यास जी और रामायण महाकाव्य के रचियता आदि कवि भगवान् वाल्मीकि जी ही समर्थ हो सके।
उन गुरूओं और महापुरूषों द्वारा रचित महाग्रन्थों का मनन कर मैं ब्रह्मा जी के वंशज, शिव श्ंकर जी के परमशिष्य और भगवान् विष्णु जी के छठे अवतार चिरंजीवी भगवान् परशुराम जी का जीवन चरित्र सम्पादन कर रहा हूँ। मैं जानता हूँ कि मैं तिनके की बनी छोटी सी नाव लेकर अपार समुद्र को पार करने की कोशिश कर रहा हूँ। इस हिमालय जैसे दीर्घ कार्य करने में मैं केवल एक तुच्छ प्राणी हूँ। यह कार्य स्वयं चिरंजीवी भगवान परशुराम जी अपने मन के अनुसार अपने दिशा निर्देश में मुझे निमित्त बनाकर स्वयं कर रहे हैं।
मुझे पूर्ण आशा है कि वर्तमान समाज एवं आनेवाली पीढिय़ाँ मेरे इस तुच्छ प्रयास से भगवान् परशुराम जी के जीवन, इतिहास, अध्यात्म, मातृ-पितृ भक्ति, शस्त्र, शास्त्र ज्ञान, भक्ति और शक्ति सम्पन्न भगवान् परशुराम जी के जीवन, इतिहास, पितृभक्ति और प्रेरणादायक आजस्वी एवं तेजस्वी चरित्र से प्रेरणा लेकर अपना जीवन सफल बनाती रहेंगी।
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